[aph] रायगढ़ : [/aph] कुनकुनी आदिवासी जमीन घोटाले से संबंधित मामले में कलेक्टर ने शुक्रवार को साफ कर दिया कि दोषी को बख्शा नहीं जाएगा। इस मामले में 170 ख का प्रकरण बनाया जाएगा और आदिवासियों की जमीन वापसी की प्रक्रि या शुरू की जाएगी।
शुक्र वार की शाम खरसिया विधायक उमेश पटेल ने कुनकुनी के प्रभावित किसानों के साथ रायगढ़ कलेक्टर से मुलाकात की। इस दौरान किसानों ने कलेक्टर को बताया कि उसने बलपूर्वक जमीन ली गई है। इस पर कलेक्टर ने जांच प्रभारी नोहर साहू को आदेश दिया कि तत्काल बचे हुए किसानों का बयान किया जाए। कुनकुनी में 300 एकड़ आदिवासी जमीन को वेदांता कोल एंड लॉजिस्टिक एवं सप्तऋ षि इंफोटेक द्वारा हड़पने की खबर नईदुनिया ने मुख्यता से प्रकाशित किया था। इसके बाद स्थानीय प्रशासन ने मामले की जांच के लिए आठ सदस्यीय जांच समिति गठित की। जांच समिति ग्रामीणों का बयान लिया गया है। इसके बाद कंपनी ने पुलिस के माध्यम से एक ग्रामीण चरण नागवंशी पर दबाव डालने की कोशिश की। इसकी शिकायत चरण ने खरसिया विधायक से की। विधायक के दखल के बाद ग्रामीणों को मिलने वाले धमकी बंद हो गई। शुक्रवार को ग्रामीणों ने खुलकर कलेक्टर के सामने अपनी बात रखी। कुछ ने आरोप लगाया कि सौदे के विपरीत अधिक जमीन पर कंपनी ने कब्जा कर लिया है। कलेक्टर ने इस मामले पर ग्रामीणों को आश्वस्त किया कि किसी भी कीमत पर दोषियों को बख्शा नहीं जाएगा और मामले में जांच के बाद मामले में 170 ख का प्रकरण चलाया जाएगा। नियमतः सभी आदिवासियों की जमीन वापस की जाएगी।
हाईटेंशन तार से ग्रामीण परेशान
ग्रामीणों ने वेदांता कोल एंड लॉजिस्टिक द्वारा गांव के बीच से ले जाए जाने वाले हाई टेंशन तार की भी शिकायत की। उनका कहना था कि मोहल्ले के बीच से यह तार ले जाना खतरनाक है। इसको देखते हुए उन्होंने इस पर तत्काल रोक लगाने की मांग की।
जांच के एक दिन पहले दिया 42 लाख
कुनकुनी आदिवासी जमीन घोटाले की जांच शुरू होने पर अनुज राम पिता मयाराम का 42 लाख का चेक बाउंस करवा दिया गया था। उसके घर जाकर सेंट्रल बैंक की 42 लाख की डीडी दी गई। इस बारे में कलेक्टर ने कहा जांच का आश्वासन दिया है।
वर्सन
हमारी जांच चल रही है। इसमें 170 ख का प्रकरण बनाकर केस चलाया जाएगा। आदिवासियों की जमीन वापस की जाएगी।
अलरमेल मंगई डी
कलेक्टर, रायगढ़